माँ का श्रृंगार

by anil kumar aksh on August 15, 2011, 04:26:31 AM
Pages: [1]
ReplyPrint
Author  (Read 1018 times)
anil kumar aksh
Guest
Reply with quote
माँग में भरना धूल हिंद की, जिसमे रवि की लाली हो ।
घुघराले बालों में बेंदी, चाँद सितारा वाली हो ॥
माथे पे बिंदिया सूरज की, जिसमे चिन्ह शेर का हो ।
आँखों में पुष्कर तीरथ और, वक्ष्स्तल अजमेर का हो ॥

काबा हो जिसकी पलकों पर, जिसका ह्रदय शिवाला हो ।
वाणी गीता सी पवन हो, हाथ में मणि की माला हो ॥
बनी तिरंगे की चूनर, और सिर पर मुकुट गगन का हो ।
भगत सिंग सा बासंती तन, जिसमे रंग लगन का हो ॥

चोली में चरखा बनवाना, जिस पर पड़ा दुशाला हो ।
ताजमहल से सुन्दर तन पर, कपड़ा खादी वाला हो ॥
चक्र करधनी में बनवाना, कर में विजय तिरंगा हो ।
धवल वेग जिसका, जिसकी बाहों में पवन गंगा हो ॥

आँचल में भर हिंदी सागर, पायल पटना की लाना ।
वीर जवाहर का रंग भी, तुम सभी जगह पर भरवाना ॥
आँखों में झरिया का काजल, नथ चित्तौड़ किले की हो ।
शुभ्र शीश पर नग हिमगिरि, चूड़ामणि बंग जिले की हो ॥

घंघरा गाँधी वाला जिसमे, वन्देमात्रम बूटा हो ।
लाल बहादुर का रंग भरना, कोई भाग न छूटा हो ॥
सारी बनी बनारस की और, ज़री हैदराबादी हो ।
हर धागा जिसका बतलाता, सौ करोड़ आबादी हो ॥

अर्जुन सी हुँकार, तांडव झासी की रानी जैसा ।
रक्षक जिसके वीर शिवाजी, उस सरहद को डर कैसा ॥
नलवे का रंग गहरा कर, संगीन थमाना बाहों में ।
फूल तोड़ लखनऊ शहर के, बिखरा देना राहों में ॥

कर श्रृंगार सजाकर उसको, कर देना तुम सिंह सवार।
तब जाकर कहलाएगी वो, भारत भू का शुभ अवतार ॥

(१५ अगस्त १९९९ - दिन रविवार )
Logged
F.H.SIDDIQUI
Guest
«Reply #1 on: August 15, 2011, 06:31:57 AM »
Reply with quote
Sundar,ati-sundar! Aksh ji,Itni sundar rachna--aapne na keval Bharat Maa ka atyant manmohak dhang se sringaar kiya,bulki Bharat bhraman bhi kara diya.Haardik aabhar aur badhaai.F.H.SIDDIQUI
Logged
khujli
Guest
«Reply #2 on: August 18, 2011, 08:30:46 AM »
Reply with quote
माँग में भरना धूल हिंद की, जिसमे रवि की लाली हो ।
घुघराले बालों में बेंदी, चाँद सितारा वाली हो ॥
माथे पे बिंदिया सूरज की, जिसमे चिन्ह शेर का हो ।
आँखों में पुष्कर तीरथ और, वक्ष्स्तल अजमेर का हो ॥

काबा हो जिसकी पलकों पर, जिसका ह्रदय शिवाला हो ।
वाणी गीता सी पवन हो, हाथ में मणि की माला हो ॥
बनी तिरंगे की चूनर, और सिर पर मुकुट गगन का हो ।
भगत सिंग सा बासंती तन, जिसमे रंग लगन का हो ॥

चोली में चरखा बनवाना, जिस पर पड़ा दुशाला हो ।
ताजमहल से सुन्दर तन पर, कपड़ा खादी वाला हो ॥
चक्र करधनी में बनवाना, कर में विजय तिरंगा हो ।
धवल वेग जिसका, जिसकी बाहों में पवन गंगा हो ॥

आँचल में भर हिंदी सागर, पायल पटना की लाना ।
वीर जवाहर का रंग भी, तुम सभी जगह पर भरवाना ॥
आँखों में झरिया का काजल, नथ चित्तौड़ किले की हो ।
शुभ्र शीश पर नग हिमगिरि, चूड़ामणि बंग जिले की हो ॥

घंघरा गाँधी वाला जिसमे, वन्देमात्रम बूटा हो ।
लाल बहादुर का रंग भरना, कोई भाग न छूटा हो ॥
सारी बनी बनारस की और, ज़री हैदराबादी हो ।
हर धागा जिसका बतलाता, सौ करोड़ आबादी हो ॥

अर्जुन सी हुँकार, तांडव झासी की रानी जैसा ।
रक्षक जिसके वीर शिवाजी, उस सरहद को डर कैसा ॥
नलवे का रंग गहरा कर, संगीन थमाना बाहों में ।
फूल तोड़ लखनऊ शहर के, बिखरा देना राहों में ॥

कर श्रृंगार सजाकर उसको, कर देना तुम सिंह सवार।
तब जाकर कहलाएगी वो, भारत भू का शुभ अवतार ॥

(१५ अगस्त १९९९ - दिन रविवार )



 Clapping Smiley Clapping Smiley Clapping Smiley Clapping Smiley Clapping Smiley Clapping Smiley Clapping Smiley Clapping Smiley Clapping Smiley Clapping Smiley Clapping Smiley Clapping Smiley Clapping Smiley Clapping Smiley Thumbs UP Thumbs UP Thumbs UP Thumbs UP Thumbs UP Thumbs UP Thumbs UP Thumbs UP Thumbs UP Thumbs UP Thumbs UP Thumbs UP Thumbs UP Thumbs UP Thumbs UP Thumbs UP icon_salut icon_salut icon_salut icon_salut icon_salut icon_salut icon_salut icon_salut icon_salut icon_salut icon_salut icon_salut icon_salut icon_salut icon_salut icon_salut icon_salut icon_salut icon_salut
Logged
Pages: [1]
ReplyPrint
Jump to:  

+ Quick Reply
With a Quick-Reply you can use bulletin board code and smileys as you would in a normal post, but much more conveniently.


Get Yoindia Updates in Email.

Enter your email address:

Ask any question to expert on eTI community..
Welcome, Guest. Please login or register.
Did you miss your activation email?
December 25, 2024, 08:18:13 AM

Login with username, password and session length
Recent Replies
by mkv
[December 22, 2024, 05:36:15 PM]

[December 19, 2024, 08:27:42 AM]

[December 17, 2024, 08:39:55 AM]

[December 15, 2024, 06:04:49 AM]

[December 13, 2024, 06:54:09 AM]

[December 10, 2024, 08:23:12 AM]

[December 10, 2024, 08:22:15 AM]

by Arif Uddin
[December 03, 2024, 07:06:48 PM]

[November 26, 2024, 08:47:05 AM]

[November 21, 2024, 09:01:29 AM]
Yoindia Shayariadab Copyright © MGCyber Group All Rights Reserved
Terms of Use| Privacy Policy Powered by PHP MySQL SMF© Simple Machines LLC
Page created in 0.111 seconds with 22 queries.
[x] Join now community of 8509 Real Poets and poetry admirer