माँ बहुत डर लगता है मुझे आँचल में छुपाले... ऋषि अग्रवाल..

by Rishi Agarwal on December 24, 2012, 08:13:03 PM
Pages: [1] 2  All
ReplyPrint
Author  (Read 1241 times)
Rishi Agarwal
Guest
Reply with quote
माँ बहुत डर लगता है
माँ मुझे डर लगता है...
बहुत डर लगता है ...
सूरज की रौशनी आग सी लगती है
पानी की बूंदे तेजाब सी लगती हैं ...
माँ हवा में भी ज़हर सा घुला लगता है .
माँ मुझे छुपा लो बहुत डर लगता है।।।
माँ याद है वो काँच की गुडिया जो बचपन में
टूटी थी ...
माँ कुछ ऐसे ही आज मै टूट गयी हूँ ..
मेरी गलती कुछ भी ना थी
माँ फिर भी खुद से रूठ गयी हूँ ...
माँ बचपन में स्कूल टीचर की गन्दी नज़रों से
डर लगता था।।।
पड़ोस के चाचा के नापाक इरादों से डर
लगता था।।।
माँ वो नुक्कड़ के लड़कों की बेखौफ़ बातों से डर लगता था।।
और अब बॉस के वहशी इशारों से डर लगता है।।
माँ मुझे छुपा लो बहुत डर लगता है।।।
माँ तुझे याद है तेरे आँगन में चिड़िया सी फुदक रही थी ..
ठोकर खा के मै जमीन पर गिर रही थी
दो बूँद खून की देख के माँ तू भी रो पड़ती थी
माँ तूने तो मुझे फूलों की तरह पला था
उन दरिंदों का आखिर मैंने क्या बिगाड़ा था क्यूँ वो मुझे इस तरह मसल कर चले गए
बेदर्द मेरी रूह को कुचल कर चले गए ..
माँ तू तो कहती थी की अपनी गुडिया को मै
दुल्हन बनाएगी
मेरे इस जीवन को खुशियों से सजाएगी।।
माँ क्या वो दिन जन्दगी कभी ना लाएगी ..
माँ क्या तेरे घर अब बारात न आएगी ...?
माँ खोया है जो मैंने क्या फिर से कभी न पाऊँगी ...?
माँ सांस तो ले रही हूँ
क्या जिन्दगी जी पाऊँगी ...?
माँ घूरते हैं सब अलग ही नज़रों से ..
माँ मुझे उन नज़रों से छुपा ले
माँ बहुत डर लगता है मुझे आँचल में छुपाले ....
Logged
Raqeeb
Guest
«Reply #1 on: December 24, 2012, 08:36:59 PM »
Reply with quote
 Applause Applause Applause Applause Applause Applause Applause Applause Applause Applause Applause Clapping Smiley Clapping Smiley Clapping Smiley Clapping Smiley Clapping Smiley Clapping Smiley Clapping Smiley Applause Applause Applause Applause Applause Clapping Smiley Clapping Smiley Clapping Smiley Clapping Smiley
Logged
~Hriday~
Poetic Patrol
Mashhur Shayar
***

Rau: 115
Offline Offline

Gender: Male
Waqt Bitaya:
101 days, 3 hours and 51 minutes.

kalam k chalne ko zamaana paagalpan samajhta hai.

Posts: 16243
Member Since: Feb 2010


View Profile WWW
«Reply #2 on: December 25, 2012, 04:17:00 AM »
Reply with quote
 Thumbs UP
Logged
F.H.SIDDIQUI
Guest
«Reply #3 on: December 25, 2012, 04:45:46 AM »
Reply with quote
just beautiful !!!
Logged
anmolarora
Guest
«Reply #4 on: December 25, 2012, 06:47:24 AM »
Reply with quote
 Applause Applause Applause Applause Applause Applause Applause Applause Applause
Logged
ParwaaZ
Guest
«Reply #5 on: December 25, 2012, 08:27:22 AM »
Reply with quote
Rishi Jee Aadaab!


Janab realy it's wonderful and mindblowing creation... No words to
phrase it... Usual Smile


 icon_salut icon_salut icon_salut icon_salut icon_salut icon_salut

Keep writting ... Keep posting...
Keep visiting...

Khuda Hafez... Usual Smile
Logged
sbechain
Guest
«Reply #6 on: December 25, 2012, 08:36:15 AM »
Reply with quote
माँ बहुत डर लगता है
माँ मुझे डर लगता है...
बहुत डर लगता है ...
सूरज की रौशनी आग सी लगती है
पानी की बूंदे तेजाब सी लगती हैं ...
माँ हवा में भी ज़हर सा घुला लगता है .
माँ मुझे छुपा लो बहुत डर लगता है।।।
माँ याद है वो काँच की गुडिया जो बचपन में
टूटी थी ...
माँ कुछ ऐसे ही आज मै टूट गयी हूँ ..
मेरी गलती कुछ भी ना थी
माँ फिर भी खुद से रूठ गयी हूँ ...
माँ बचपन में स्कूल टीचर की गन्दी नज़रों से
डर लगता था।।।
पड़ोस के चाचा के नापाक इरादों से डर
लगता था।।।
माँ वो नुक्कड़ के लड़कों की बेखौफ़ बातों से डर लगता था।।
और अब बॉस के वहशी इशारों से डर लगता है।।
माँ मुझे छुपा लो बहुत डर लगता है।।।
माँ तुझे याद है तेरे आँगन में चिड़िया सी फुदक रही थी ..
ठोकर खा के मै जमीन पर गिर रही थी
दो बूँद खून की देख के माँ तू भी रो पड़ती थी
माँ तूने तो मुझे फूलों की तरह पला था
उन दरिंदों का आखिर मैंने क्या बिगाड़ा था क्यूँ वो मुझे इस तरह मसल कर चले गए
बेदर्द मेरी रूह को कुचल कर चले गए ..
माँ तू तो कहती थी की अपनी गुडिया को मै
दुल्हन बनाएगी
मेरे इस जीवन को खुशियों से सजाएगी।।
माँ क्या वो दिन जन्दगी कभी ना लाएगी ..
माँ क्या तेरे घर अब बारात न आएगी ...?
माँ खोया है जो मैंने क्या फिर से कभी न पाऊँगी ...?
माँ सांस तो ले रही हूँ
क्या जिन्दगी जी पाऊँगी ...?
माँ घूरते हैं सब अलग ही नज़रों से ..
माँ मुझे उन नज़रों से छुपा ले
माँ बहुत डर लगता है मुझे आँचल में छुपाले ....


beshak dar lagta hai..............! kya karein ab..........! achi nazm hai


 tearyeyed tearyeyed tearyeyed tearyeyed
Logged
pritam tripathi
Guest
«Reply #7 on: December 25, 2012, 12:09:05 PM »
Reply with quote
sheba ji dariye mat bas uska himmat se samna kijiye abhi bhi bahut se acche insaan hain is dharti pr aur bahut se veer hain jo apne ghar ki bahu betiyon ki aan baan aur maan ki raksha ke liye apni jaan par bhi khel jaaayenge
Logged
Rishi Agarwal
Guest
«Reply #8 on: December 25, 2012, 02:53:50 PM »
Reply with quote
Applause Applause Applause Applause Applause Applause Applause Applause Applause Applause Applause Clapping Smiley Clapping Smiley Clapping Smiley Clapping Smiley Clapping Smiley Clapping Smiley Clapping Smiley Applause Applause Applause Applause Applause Clapping Smiley Clapping Smiley Clapping Smiley Clapping Smiley

शुक्रिया
Logged
Rishi Agarwal
Guest
«Reply #9 on: December 25, 2012, 02:54:51 PM »
Reply with quote
Thumbs UP
just beautiful !!!

शुक्रिया
Logged
Rishi Agarwal
Guest
«Reply #10 on: December 25, 2012, 02:55:26 PM »
Reply with quote
Applause Applause Applause Applause Applause Applause Applause Applause Applause

शुक्रिया
Logged
Rishi Agarwal
Guest
«Reply #11 on: December 25, 2012, 02:56:33 PM »
Reply with quote
Rishi Jee Aadaab!


Janab realy it's wonderful and mindblowing creation... No words to
phrase it... Usual Smile


 icon_salut icon_salut icon_salut icon_salut icon_salut icon_salut

Keep writting ... Keep posting...
Keep visiting...

Khuda Hafez... Usual Smile


शुक्रिया परवाज़ जी..
Logged
Rishi Agarwal
Guest
«Reply #12 on: December 25, 2012, 03:22:48 PM »
Reply with quote

beshak dar lagta hai..............! kya karein ab..........! achi nazm hai


 tearyeyed tearyeyed tearyeyed tearyeyed

शेबा जी आप सही कह रही हो ऐसे समाज में डरने की जरुरत हैं क्युकी जुर्म करने वाले बेकौफ घूमते हैं और जुर्म के शिकार हुवे लोग डरे और सहमे रहते हैं.. हमारा समाज बहुत पीछे आज भी.. या तो लड़की को अपनी हवस का शिकार बना देते हैं या फिर दहेज़ के लोभी उसे आग का शिकार बना देते हैं.. और तो और आज के असभ्य और ग्वार लोग बेटी को बोझ मांग कर कोख में ही दफ़न कर देते हैं.. और इसी समाज में बेटी को ही गलत समझा जाता हैं.. क्यों ऐसा क्यों.. क्या बेटी होना अभीश्राफ हैं...
Logged
Iftakhar Ahmad
Guest
«Reply #13 on: December 25, 2012, 08:39:39 PM »
Reply with quote
Bahut bahut khoob, jitni taareef ki jaae kam hai is rachna ke liye.
Logged
nandbahu
Mashhur Shayar
***

Rau: 122
Offline Offline

Gender: Male
Waqt Bitaya:
20 days, 4 hours and 11 minutes.
Posts: 14553
Member Since: Sep 2011


View Profile
«Reply #14 on: December 26, 2012, 07:39:22 AM »
Reply with quote
bahut khoob, dhero dad
Logged
Pages: [1] 2  All
ReplyPrint
Jump to:  

+ Quick Reply
With a Quick-Reply you can use bulletin board code and smileys as you would in a normal post, but much more conveniently.


Get Yoindia Updates in Email.

Enter your email address:

Ask any question to expert on eTI community..
Welcome, Guest. Please login or register.
Did you miss your activation email?
November 21, 2024, 04:00:18 PM

Login with username, password and session length
Recent Replies
[November 21, 2024, 09:01:29 AM]

[November 16, 2024, 11:44:41 AM]

by Michaelraw
[November 13, 2024, 12:59:11 PM]

[November 08, 2024, 09:59:54 AM]

[November 07, 2024, 01:56:50 PM]

[November 07, 2024, 01:55:03 PM]

[November 07, 2024, 01:52:40 PM]

[November 07, 2024, 01:51:59 PM]

[October 30, 2024, 05:13:27 AM]

by ASIF
[October 29, 2024, 07:57:46 AM]
Yoindia Shayariadab Copyright © MGCyber Group All Rights Reserved
Terms of Use| Privacy Policy Powered by PHP MySQL SMF© Simple Machines LLC
Page created in 0.112 seconds with 24 queries.
[x] Join now community of 8506 Real Poets and poetry admirer